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Devonshire Cream Tea

Devonshire Cream Tea

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डेवन्सायर क्रीम टी, यूनाइटेड किंगडम का एक प्रसिद्ध पारंपरिक चाय प्रसंग है, जो विशेष रूप से इंग्लैंड के डेवन और कॉर्नवॉल क्षेत्रों में लोकप्रिय है। यह न केवल एक चाय का समय है, बल्कि यह एक सांस्कृतिक अनुभव भी है, जिसमें स्वादिष्ट बिस्किट, क्रीम और जाम का आनंद लिया जाता है। इस विशेष चाय का इतिहास काफी दिलचस्प है और यह 11वीं शताब्दी के आसपास की है। कहा जाता है कि यह रानी ऐनी से प्रेरित होकर शुरू हुआ, जो चाय पीने की शौकीन थीं। धीरे-धीरे, यह रिवाज स्थानीय लोगों के बीच लोकप्रिय हो गया और आज इसे एक विशेष अवसर पर या सर्दियों में आरामदायक पलों में आनंद लिया जाता है। डेवन्सायर क्रीम टी की मुख्य विशेषताएँ इसकी सामग्री और तैयारी की विधि हैं। इस डिश में तीन मुख्य तत्व होते हैं: सकोन, डबल क्रीम और स्ट्रॉबेरी जाम। सकोन एक प्रकार का बिस्किट होता है, जो आटे, बेकिंग पाउडर, नमक, मक्खन और दूध से बनाया जाता है। इसे आमतौर पर गोल आकार में बनाया जाता है और ओवन में सुनहरा होने तक बेक किया जाता है। सकोन की बनावट हल्की और भुलक्कड़ होती है, जो इसे चाय के साथ खाने पर एक विशेष अनुभव देती है। क्रीम, जो इस चाय का एक अनिवार्य हिस्सा है, डबल क्रीम होती है, जिसका मुँह में घुलने वाला स्वाद इसे और भी समृद्ध बनाता है। यह क्रीम, दूध को उबालकर और फिर ठंडा करके बनाई जाती है, जिससे इसका वसायुक्त स्वाद विकसित होता है। जाम, आमतौर पर स्ट्रॉबेरी या रास्पबेरी का होता है, जिसका मीठा और खट्टा स्वाद सकोन और क्रीम के साथ एक अद्भुत संतुलन बनाता है। इस चाय को परोसा जाने का तरीका भी खास होता है। सकोन को आधा काटकर उसमें क्रीम और जाम को परत दर परत रखा जाता है। कुछ लोग पहले क्रीम लगाते हैं और फिर जाम, जबकि अन्य इसके विपरीत करते हैं। इस तरह से इसे तैयार करना न केवल स्वाद में विविधता लाता है, बल्कि इसे खाने का मजा भी बढ़ाता है। डेवन्सायर क्रीम टी का आनंद लेते समय, इसे एक अच्छी गुणवत्ता वाली चाय के साथ परोसा जाता है, जो इसे और भी विशेष बनाता है। यह एक ऐसा अनुभव है जो न केवल स्वाद का आनंद देता है, बल्कि ब्रिटिश संस्कृति का एक हिस्सा भी है।

How It Became This Dish

डेवनशायर क्रीम टी: एक स्वादिष्ट इतिहास डेवनशायर क्रीम टी, जिसे आमतौर पर 'क्रीम टी' के नाम से जाना जाता है, एक पारंपरिक ब्रिटिश भोजन है जो मुख्य रूप से इंग्लैंड के डेवन काउंटी से संबंधित है। यह एक अनूठा अनुभव है जो चाय, स्कोन, क्रीम और जाम के सम्मिलन से बना है। इसके इतिहास और सांस्कृतिक महत्व को समझने के लिए हमें इसकी उत्पत्ति और विकास की यात्रा पर जाना होगा। उत्पत्ति डेवनशायर क्रीम टी की उत्पत्ति 11वीं शताब्दी में होती है, जब नॉर्मन आक्रमणकारियों ने इंग्लैंड में दूध और दुग्ध उत्पादों का सेवन करना शुरू किया। डेवन, जो एक समृद्ध कृषि क्षेत्र है, में दूध और क्रीम की प्रचुरता रही है। किंवदंतियों के अनुसार, 11वीं शताब्दी में, जब स्थानीय लोग दूध से क्रीम निकालने लगे, तब उन्होंने इसे बिस्किट या स्कोन के साथ मिलाकर खाना शुरू किया। 19वीं शताब्दी में, जब चाय पीने की प्रथा ब्रिटेन में लोकप्रिय हुई, तब डेवनशायर क्रीम टी का विकास हुआ। यह तब विशेष रूप से लोकप्रिय हुआ जब रानी विक्टोरिया ने चाय पीने की आदत को अपनाया, जिसने इसे समाज के उच्च वर्गों के बीच एक फैशन बना दिया। सांस्कृतिक महत्व डेवनशायर क्रीम टी केवल एक भोजन नहीं है, बल्कि यह इंग्लैंड के सामाजिक जीवन का एक अभिन्न हिस्सा है। यह आमतौर पर दोपहर के समय पर परोसा जाता है और इसे एक विशेष अवसर के रूप में देखा जाता है। इसके साथ, चाय की चुस्की लेते हुए, दोस्त और परिवार एकत्र होते हैं, जो कि सामाजिकता और मेलजोल का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इसका एक विशेष तत्व यह है कि यह एक ऐसा भोजन है जिसे आमतौर पर एक साथ साझा किया जाता है। स्कोन को क्रीम और जाम के साथ परोसने की परंपरा ने इसे एक सहकारी अनुभव बना दिया है। इसे परोसते समय, हर कोई अपनी पसंद के अनुसार स्कोन को तैयार कर सकता है, जिससे यह व्यक्तिगत स्पर्श प्राप्त करता है। डेवलपमेंट ओवर टाइम डेवनशायर क्रीम टी का विकास केवल इसके खाद्य सामग्री तक सीमित नहीं है। 20वीं शताब्दी में, जब पर्यटन ने डेवन और इसके आसपास के क्षेत्रों को लोकप्रिय बनाया, तब क्रीम टी की परंपरा ने एक नया मोड़ लिया। इसे विभिन्न कैफे और चाय की दुकानों में पेश किया जाने लगा, और स्थानीयता के साथ-साथ विभिन्न शैलियों में भी इसका निर्माण हुआ। आज, आपको डेवन में क्रीम टी की अनेक विविधताएँ मिलेंगी। कुछ स्थानों पर यह "डेवनी क्रीम टी" के रूप में प्रसिद्ध है, जबकि अन्य क्षेत्रों में इसे "कॉर्निश क्रीम टी" के रूप में जाना जाता है। कॉर्निश क्रीम टी में स्कोन को जाम के साथ पहले लगाया जाता है और फिर क्रीम। जबकि डेवनशायर में, क्रीम को पहले लगाया जाता है और फिर जाम। यह एक छोटी सी, लेकिन महत्वपूर्ण भिन्नता है, जो इस पारंपरिक भोजन की क्षेत्रीय विविधता को दर्शाती है। समकालीन परिप्रेक्ष्य आज, डेवनशायर क्रीम टी का सेवन न केवल डेवन में, बल्कि पूरे ब्रिटेन और विश्व के अन्य हिस्सों में भी किया जाता है। यह एक सांस्कृतिक प्रतीक बन गया है, जो इंग्लैंड की परंपराओं और सामूहिक पहचान को दर्शाता है। चाय के कप के साथ इसे परोसने का तरीका और स्कोन की तैयारी में भी स्थानीय विविधता देखी जाती है। कई लोग आज इसे एक विशेष अवसर पर या छुट्टियों के दौरान बनाने का आनंद लेते हैं। इसके अलावा, कई रेस्तरां और कैफे इसे एक आधिकारिक मेन्यू आइटम के रूप में पेश कर रहे हैं, जिससे यह एक वैश्विक अनुभव बन गया है। निष्कर्ष डेवनशायर क्रीम टी न केवल एक स्वादिष्ट भोजन है, बल्कि यह इंग्लैंड की सांस्कृतिक धरोहर का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। इसकी उत्पत्ति, विकास और सांस्कृतिक महत्व इसे एक अद्वितीय अनुभव बनाते हैं। आने वाली पीढ़ियों के लिए, यह एक ऐसी परंपरा है जो न केवल स्वाद में है, बल्कि दोस्तों और परिवार के साथ बिताए समय की यादों में भी। इस प्रकार, डेवनशायर क्रीम टी सिर्फ एक साधारण चाय का अनुभव नहीं है, बल्कि यह एक ऐसे अनुभव का प्रतिनिधित्व करता है जो सैकड़ों वर्षों से ब्रिटिश समाज का हिस्सा रहा है। इसलिए, अगली बार जब आप डेवनशायर क्रीम टी का आनंद लें, तो इसके पीछे की गहराई और इतिहास को याद करें।

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